गाँव अलीमोहम्मद के किसान चरण सिंह खिचड़ ने किन्नू व माल्टा का बाग लगाकर कमाए लाखों

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गाँव अलीमोहम्मद के किसान चरण सिंह खिचड़ ने किन्नू व माल्टा का बाग लगाकर कमाए लाखों



सफलता की कहानी :  राजस्थान की सीमा से सटे हरियाणा के सिरसा जिला के किसान परंपरागत खेती के साथ-साथ आधुनिक तरीके से बागवानी, पशुपालन, सब्जियां इत्यादि लगाकर अपने घर की आर्थिक स्थिति को मजबूत बना रहे हैं। 


यह क्षेत्र राज्य के अंतिम छोर पर पड़ने के कारण हमेशा ही नहरी पानी की कमी से जूझता रहता हैक्षेत्र के किसान आमदनी बढ़ाने के लिए कृषि साथ अन्य व्यवसायों में नए-नए तरीकों की खोज करने में लगे रहते हैं. 


इसी कड़ी में सिरसा जिले के गांव अली मोहम्मद के किसान चरण सिंह पुत्र हवा सिंह खिचड़ ने साढ़े पांच एकड़ जमीन में माल्टा व 7 एकड़ में किन्नू का बाग लगाकर परम्परागत खेती के साथ आमदनी बढाई है। खास बात यह है कि बाग के साथ साथ किसान ने चीकू, खजूर, बेलपत्र, आडू आदि के फलदार पौधे लगा रखें हैं.

  

गांव अली मोहम्मद के किसान किसान चरण सिंह खिचड़ ने बताया कि परंपरागत खेती में लगातार हो रहे घाटे से उबरने के लिए उन्होंने आधुनिक तरीके से खेती करने का मन बनाया। इसी के तहत उन्होंने  साल 2007 में पहले साढ़े पांच एकड़ में माल्टा और 7 एकड़ में किन्नू का बाग लगा कर अतिरिक्त कमाई शुरू की। 


उन्होंने बताया कि पौधों की लाइनों में गेहूं,  चना इत्यादि फसलें लगा कर दोहरी प्रकार की खेती से लाभ उठा रहा है। उन्होंने बताया कि माल्टा किस्म का संतरा आकार में बड़ा, कम बीज वाला, लाल व मीठा होता है और रेतीली व कम पानी वाली जमीन में कामयाब होने के कारण उन्होंने इसी वैरायटी को चुना। 


उन्होंने बताया कि एक एकड़ में 110 पौधे लगाए गए उन पौधों ने तीन साल बाद फल देना शुरू कर दिया. इस बार उन्हें माल्टा से 3 लाख रुपए प्रति एकड़ और किन्नू से 1 लाख 70 हजार रुपए प्रति एकड़ कमाई हुई है. 

 

क्षेत्र में मंडी व वैक्सिंग प्लांट लगाया जाए

चरण सिंह खिचड़ ने बताया कि उसके गांव से फलों की मण्डी  दूर पड़ती है। जिससे फलों को वहां ले जाकर बेचने में यातायात खर्च ज्यादा आता है। तथा बचत कम होती है। उसका कहना है कि अगर फलों व सब्ज़ियों की मण्डी नजदीक में विकसित हो जाए तो यातायात खर्च कम होने से बचत ज्यादा हो जाएगी।

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