सिरसा की बड़ी खबर - : दूध निकाल कर पशुओं को आवारा छोड़ने वालों की अब खैर नहीं, ऐसे लोगों को चिन्हित कर उनके खिलाफ की जाएगी पुलिस द्वारा एफआईआर दर्ज

Advertisement

6/recent/ticker-posts

सिरसा की बड़ी खबर - : दूध निकाल कर पशुओं को आवारा छोड़ने वालों की अब खैर नहीं, ऐसे लोगों को चिन्हित कर उनके खिलाफ की जाएगी पुलिस द्वारा एफआईआर दर्ज




सिरसा, 02 फरवरी। उपायुक्त अनीश यादव ने कहा कि सिरसा जिले में प्रदेश की सर्वाधिक 134 रजिस्टर्ड गौशालाएं हैं। हरियाणा सरकार द्वारा इन गौशालाओं के लिए गत वर्ष एक करोड़ 67 लाख 20 हजार रुपये अनुदान स्वरूप दिए गए थे। इसके बावजूद भी गलियों में आवारा गाय व नंदी घूम रहे हैं। इन आवारा पशुओं को पकडऩे के लिए विशेष अभियान चलाया जाएगा। ऐसे व्यक्ति जो दुधारू पशुओं को दूध निकाल कर उन्हें आवारा छोड़ देते हैं, ऐसे  लोगों को भी चिन्हित किया जाएगा और उनके खिलाफ पुलिस द्वारा एफआईआर दर्ज की जाएगी तथा ऐसा करने वालों के खिलाफ कार्रवाई अमल में लाई जाएगी तथा जुर्माना भी लगाया जाएगा। किसी भी प्रकार की लापरवाही बदार्शत नहीं की जाएगी।


उपायुक्त ने बुधवार को अपने कार्यालय में रामनगरिया व केलनिया गौशालों के संचालकों की बैठक की और उनसे व्यवस्थाओं की जानकारी ली और कहा कि वे अपनी गौशालाओं में और अधिक गऊओं का रख रखाव की व्यवस्था करें, जिला प्रशासन द्वारा भी विशेष सहयोग दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि जिला में कोई भी नंदी व गाय आवारा न घूमें, इसके लिए सभी को आत्मिक रूप से सहयोग करना चाहिए। उन्होंने नगर परिषद के ईओ संदीप मलिक को निर्देश दिए कि वे आवारा पशुओं को पकड़ने के लिए विशेष अभियान चलाए। इस अभियान के दौरान पुलिस की भी ड्यूटी रहेगी, ऐसे पशुपालन जो गऊओं का दूध निकाल कर उन्हें खुला छोड़ देते हैं, ऐसे लोगों को भी चिन्हित करें ताकि उनके खिलाफ कार्रवाई अमल में लाई जाए।


उपायुक्त ने ईओ को निर्देश दिए कि यदि कोई व्यक्ति अपने स्वार्थ के कारण आवारा पशुओं को पकडऩे में दिक्कत करता है, उसके खिलाफ पुलिस में एफआईआर दर्ज की जाए। उन्होंने बीडीपीओ रवि कुमार को निर्देश दिए कि वे गौशालाओं के लिए चारे आदि का इंतजाम करें। इसके अतिरिक्त गौशालाओं को सरकार द्वारा भी आर्थिक सहयोग दिया जाता है।


उपायुक्त ने राम नगरिया व केलनियां गौशालाओं के प्रबंधकों से कहा कि अपनी गौशाला में और अधिक गाय की सेवा करने की व्यवस्था करें ताकि गलियों में घूमने वाली आवारा गायों का सही ढंग से पालन पोषण किया जा सके। उपायुक्त ने पशुपालन विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे तुरंत ट्रेगिंग शुरु करवाएं।


पशुपालन विभाग के एसडीओ डा. राकेश कुमार ने बताया कि जिला में करीब 2200 आवारा गाय व नंदी हैं, जिनमें से करीब 400 दुधारू हैं, जोकि लोग अपने स्वार्थ के कारण दूध निकाल कर इनको आवारा छोड़ देते हैं। इसके अतिरिक्त 1500 पशु आवारा हैं, जिनको आश्रय की जरूरत हैं, शीघ्र ही अभियान चला कर इन पशुओं को विभिन्न गौशालाओं व नंदीशालाओं में भेजकर आश्रय दिलवाया जाएगा। उन्होंने बताया कि जिला में 134 गौशालाएं रजिस्टर्ड हैं, गत वर्ष सरकार द्वारा जिला में एक करोड़ 67 लाख 20 हजार रुपये गौशालाओं को अनुदान स्वरूप दिया गया था।

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ