Chopta Sirsa अक्षय तृतीया आखा तीज का पर्व बाजरे की खिचड़ी बनाकर परंपरागत ढंग से मनाया

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Chopta Sirsa अक्षय तृतीया आखा तीज का पर्व बाजरे की खिचड़ी बनाकर परंपरागत ढंग से मनाया

 चोपटा क्षेत्र में अक्षय तृतीया आखा तीज का पर्व बाजरे की खिचड़ी बनाकर परंपरागत ढंग से मनाया



चोपटा। राजस्थान की सीमा से सटे पैंतालिसा क्षेत्र के गांवों में अक्षय तृतीया आखा तीज का पर्व ग्रामीणों और किसानों द्वारा श्रद्धा और उल्लास के साथ परंपरागत ढंग से मनाया गया। ग्रामीण महिलाओं ने अपने घरों में बाजरे की खिचड़ी बनाकर  भगवान को भोग लगाया। ग्रामीण महिला गिरदावरी देवी, सीता देवी, शकुंतला, चेल्सी ने बताया कि आखा तीज का का दिन अबूझ मुहूर्त का दिन होता है इस दिन किसान नई फसल की बिजाई के लिए हल जोतने की शुरुआत करते हैं तथा घरों में बाजरे की खिचड़ी बनाकर भगवान को भोग लगाया जाता है और हलधर किसान को भोजन कराया जाता है। और ग्रामीण अच्छी बारिश और भरपूर उत्पादन की कामना करते हैं। 



इसी कड़ी में क्षेत्र के गांव कागदाना, कुम्हारिया, खेड़ी, गुसाईं आना, राजपुरा साहनी, गिगोरानी, रामपुरा ढिल्लों, जमाल, कुतियाना, रुपावास, नाथूसरी कलां, लुदेसर सहित सभी गांवों में बाजरे की खिचड़ी बनाकर अपने घरों में रहकर त्यौहार को मनाया। साथ ही  परशुराम जयंती पर भगवान परशुराम को नमन किया।

Chopta The festival of Akshaya Tritiya Aakha Teej was celebrated in a traditional way with reverence and gaiety by the villagers and farmers in the villages of Pantalisa region bordering Rajasthan. The rural women made bajra khichdi in their homes and offered it to the Lord. Rural women Girdawari Devi, Sita Devi, Shakuntala, Chelsea told that the day of Akha Teej is the day of Abuja Muhurta, on this day, farmers start plowing plow for sowing new crop and enjoy God by making Bajra khichdi in their homes. Is planted and food is provided to the haldhar farmer. And the villagers wish for good rain and plenty of production. 



In this series, villages like Kagdana, Kumhariya, Khedi, Gusain Aana, Rajpura Sahni, Gigorani, Rampura Dhillon, Jamal, Kutiana, Rupavas, Nathusari Kalan, Ludesar celebrated the festival by staying in their homes, making khichdi khichdi in all the villages of the region. Also, paid obeisance to Lord Parshuram on Parashuram Jayanti.

फोटो। गांव कुम्हारिया में आखा तीज के अवसर पर बाजरे की खिचड़ी बनाने के लिए बाजरे को तैयार करती ग्रामीण महिलाएं

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