कोरोना संक्रमण के मामलों को नियंत्रण करने के लिए सभी ग्राम पंचायतों के लिए आबादी अनुसार 50 हजार रुपये तक का फंड जारी करेगी हरियाणा सरकार

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कोरोना संक्रमण के मामलों को नियंत्रण करने के लिए सभी ग्राम पंचायतों के लिए आबादी अनुसार 50 हजार रुपये तक का फंड जारी करेगी हरियाणा सरकार


 

-ग्रामीण क्षेत्र में बढ़ रहे कोरोना संक्रमण के मामलों को नियंत्रण करने के लिए सभी ग्राम पंचायतों के लिए आबादी अनुसार 50 हजार रुपये तक का फंड जारी करेगी हरियाणा सरकार


-गांवों में चौपालों, सरकारी स्कूलों व आंगनबाड़ी केंद्रों में  बनाए जाएंगे कोरोना आइसोलेशन सैंटर 


ग्रामीण क्षेत्र में बढ़ रहे कोरोना संक्रमण के मामलों को नियंत्रण करने के लिए हरियाणा सरकार एक और बड़ा कदम उठाने जा रही है। राज्य सरकार जल्द ही प्रदेश की सभी ग्राम पंचायतों के लिए आबादी अनुसार 50 हजार रुपये तक का फंड जारी करेगी। इस फंड के माध्यम से गांवों में आइसोलेशन वार्ड स्थापित किए जाएंगे तथा उनमें ऑक्सीमीटर, स्टीम मशीन, थर्मामीटर, ब्लड प्रेशर चेकिंग मशीन व कोरोना से संबंधित आवश्यक वस्तुओं की व्यवस्था की जाएगी ताकि कोरोना महामारी की दूसरी लहर से गांव स्तर पर ही मजबूती के साथ लड़ा जा सके। 

यह जानकारी सोमवार को प्रदेश के उपमुख्यमंत्री  दुष्यंत चौटाला ने पंचायत विभाग के अधिकारियों की बैठक की अध्यक्षता करने के बाद दी।

डिप्टी सीएम ने कहा कि गांवों में बढ़ रहे कोरोना के मामले चिंता का विषय है। इसको लेकर राज्य सरकार द्वारा जहां ग्रामीण क्षेत्रों में कोरोना टेस्टिंग बढ़ाने के लिए आठ हजार टीमों का गठन किया जा रहा है, वहीं गांवों में आइसोलेशन वार्ड स्थापित करने के लिए सभी ग्राम पंचायतों को फंड जारी करने का एक और बड़ा कदम भी उठाया है। उन्होंने कहा कि गांवों में कोरोना संक्रमण को काबू करने के लिए गांवों में ही कोरोना उपचार की व्यवस्था स्थापित करना बेहद जरूरी है इसलिए राज्य सरकार पंचायतों को तुरंत फंड मुहैया करवाएगी। 

 सरकार सभी गांवों में उनकी आबादी अनुसार 10 हजार की जनसंख्या से कम वाले गांवों को 30 हजार रुपये और दस हजार से ज्यादा की आबादी वाले गांवों को 50 हजार रुपये का फंड देगी। उन्होंने कहा कि गांवों में चौपालों, सरकारी स्कूलों व आंगनबाड़ी केंद्रों में कोरोना आइसोलेशन सैंटर बनाए जाएंगे। 

उपमुख्यमंत्री ने बताया कि इनके संचालन के लिए एक टीम का गठन किया जाएगा, जिसमें स्वास्थ्य कर्मचारी (एएनएम), आंगनबाड़ी वर्कर्स व ग्राम पंचायत प्रतिनिधि शामिल होंगे और इन टीमों को सीएचसी व पीएचसी के इंचार्ज मॉनिटर करेंगे।

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